जादूगोड़ा : यूरेनियम कारपोरेशन ऑफ़ इंडिया लिमिटेड जादूगोड़ा से हाल के दिनों में महाप्रबंधक ( कार्मिक /औ० सं० ) के पद से सेवानिवृत हुए ईमानदार और कड़क अधिकारी के रूप में अपनी पहचान रखने वाले व्यक्ति संजय कुमार शर्मा को झारखण्ड स्थापना दिवस के अवसर पर ग्रेच्युटी राशि का कम्पनी द्वारा भुगतान कर दिया गया . इसके साथ ही संजय कुमार शर्मा की कार्यशाली और उनकी ईमानदारी पर लगाये जा रहे सभी अटकलों पर पूर्ण रूप से विराम लग गया. ज्ञात हो की संजय कुमार शर्मा की सही फैसले लेने की कार्यशाली यूसिल के कई अधिकारियों को रास नहीं आ रही थी. जिसके कारण यूसिल के एक पूर्व उच्च अधिकारी तथा वर्तमान अधिकारी ने एक बाद एक कुल -41 शिकायतें अलग -अलग जांच एजेंसियों को की थी. जिसकी जांच के बाद शर्मा को क्लीन चिट मिल गयी और उनकी ग्रेच्युटी भुगतान का रास्ता साफ़ हो गया जिसके बाद कम्पनी को उनकी बकाया धनराशी का भुगतान करना पड़ा.
ज्ञात हो की अपने पद पर रहते संजय कुमार शर्मा ने सेवानिवृत कर्मचारियों की ग्रेच्युटी राशि का भुगतान उनकी सेवानिवृति के दिन ही करने को लेकर एक पत्रांक -UCIL /894 दिनांक -24 /12 /2019 जारी किया था जिसमे कहा गया था की चूँकि कम्पनी के कर्मचारी या अधिकारी अपने जीवन का सबसे महत्वपूर्ण समय कम्पनी की सेवा में देते हैं . ऐसे में उनकी सेवानिवृति के दिन उनको उनके विभागाध्यक्ष द्वारा सम्मानपूर्वक विदाई दी जाये. साथ ही उनकी ग्रेच्युटी का चेक भी उसी दिन उन्हें सौंप दिया जाये. उनके इस कदम की महकमे में काफी सराहना की गयी थी और कर्मचारियों ने इसके लिए संजय शर्मा को धन्यवाद भी दिया था. मगर विभागीय गुटबाजी में संजय शर्मा ही इस नियम से वंचित कर दिए गए.
अपनी ग्रेच्युटी राशि के भुगतान के बाद संजय कुमार शर्मा ने कहा है की सत्य परेशान हो सकता है मगर पराजित नहीं . मैंने कम्पनी को पूरी निष्ठा से अपनी सेवा दी है. मुझे मेरे हक का पैसा मिल गया है. मुझपर लगाये गए कोई भी आरोप प्रमाणित नहीं हो सके क्योंकि उनमे सत्यता नहीं थी. कम्पनी या संगठन को चलाने के लिए पूरी ईमानदारी से काम करना होता है और जब आप ऐसा करते हैं तो काम नहीं करने वाले लोगों का आपके प्रति षड्यंत्र रचना लाजिमी है . मगर इससे परेशान होने की बजाये अपने काम पर ध्यान देने वाला व्यक्ति कभी भी ऐसे लोगों से पराजित नहीं हो सकता है .